चिमूर :-चिमूर तहसील व शेगांव पुलिस स्टेशन अंतर्गत आनेवाले खानगांव के चिमूर वरोरा राष्ट्रीय महामार्ग से सटे खेत में शौच के लिए गए युवक पर बाघ ने हमला कर दिया जिसमें युवक की मौत हो गई. यह घटना बुधवार की सुबह उजागर हुई. मृतक युवक का नाम अंकुश श्रावण खोब्रागडे 34 है वह खानगांव का निवासी है.
विस्तृत रिपोर्ट यह है कि खानगांव के युवक अंकुश श्रवण खोबरागड़े (उम्र 34 वर्ष) यह रोज रात को अपनी फसल और जानवरों की देखभाल के लिए अपने खेत पर जाता था. इसी तरह मंगलवार की रात भी वह रोज की तरह खाना खाकर अपने खेत में सोने चला गया. लेकिन आधी रात के करीब अंकुश को अचानक शौच लगने से अंकुश खेत के किनारे नदी से सटकर एक जगह पर चला गया. लेकिन इस बार खेत के किनारे पहले से ही मौजूद एक बाघ ने अचानक उसपर हमला कर दिया और उसे मौके पर ही मार डाला.
इस बार बाघ ने अंकुश पर झपट्टा मारकर अपनी भूख पूरी तरह से शांत की. अंकुश रोज सुबह 7 बजे घर आता था, बुधवार को 7 बजे भी अंकुश घर नहीं लौटा, तब उसका भाई हेमराज खेत में अंकुश को देखने गया तो उसकी चप्पलें और मोबाइल फोन कुटीया के बाहर पड़ा हुआ मिला. और बिस्तर गीला था. तब हेमराज को संदेह हुआ कि अंकुश को कोई जंगली जानवर उठा ले गया होगा, इसका पता लगाने के लिए हेमराज खेत के पास खोजने गया. तो हेमराज का बाघ के पगमार्क दिखे. तभी धनपाल ने दो व्यक्तिओं का साथ लेकर अंकुश की खेाज की. खोज के दौरान अंकुश का शव नदी में मिला. उसके भाई के पैरों तले जमीन खिसक गई. इस समय शोर मचाया. इसकी सूचना गांव तक पहुचने पर इलाके के लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी.
इस समय वन विभाग की टीम मौके पर पहुंच गई है और इस समय ग्रामीणों ने वन विभाग पर आक्रोश जताया. नागरिकों का आरोप था कि उक्त घटना वन विभाग के कारण हुई है. मामला बढ़ता देख वन विभाग ने घटना की जानकारी स्थानीय शेगांव थाने में दी. थानेदार योगेन्द्र सिंह यादव की टीम पहुंची. लेकिन ग्रामीण एकजुट हो गए हैं कि जब तक हमारी मांगें पूरी नहीं होंगी, हम पंचनामा नहीं करने देंगे ऐसी भूमिका ली. हालात बेकाबू होता देख एसएफ हजारे को फोन पर घटना की जानकारी देने के बाद हजारे तत्काल मौके पर पहुंचे. इसके बाद ग्रामीण के माध्यम से मांगों का लिखित विवरण वन विभाग को दिया गया और सभी मांगों का लिखित विवरण स्टांप पेपर पर हस्ताक्षर कर शपथ पत्र लिखवाया गया. इसके बाद पुलिस विभाग और वन विभाग के नेतृत्व में पंचनामा की कार्रवाई की गई. शव परीक्षण के लिए उपजिला अस्पताल चिमूर में स्थानांतरित कर दिया गया. इस मौके पर एक लाख रुपये नकद और चार लाख रुपये के चेक के रूप में आर्थिक सहायता दी गयी. वन विभाग ने आश्वासन दिया कि पोस्टमार्टम के बाद बाकी आर्थिक सहायता मुहैया करायी जायेगी. इस समय, शेगांव पुलिस स्टेशन के तहत एक बड़ा पुलिस बल रखा गया था.
इस समय एस. बी. हजारे, सहायक वन संरक्षक (तेंदू), ब्रम्हपुरी वन प्रभाग ब्रम्हपुरी, के बी देउरकर, वन रेंज अधिकारी चिमूर, विशाल सालकर, वनपरिक्षेत्र अधिकारी, सिंदेवाही, उत्तम घुगरे, क्षेत्र सहायक, खडसांगी, एस. आर. औतकर, क्षेत्र सहायक भिसी सभी ने स्टांप पेपर पर हस्ताक्षर कर पत्र दिया. इस अवसर पर साक्षी के रूप में योगेन्द्रसिंह यादव थानेदार शेगांव, अर्चना राजेंद्र रामटेके खानगांव, विनोद लक्ष्मण देठे, सरपंच बोथली उपस्थित थे. यदि सोलर फेसिंग वनविभाग के वरिष्ठ अधिकारीयों ने दो दिन में तत्काल नही लगाए तो ग्रामीण फिर से आंदोलन करने की तैयारी में हैं.
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